जैव
जयललिता जयराम , जिन्हें अक्सर संक्षेप में जयललिता है, एक भारतीय राजनीतिज्ञ और फिल्म अभिनेत्री थीं, जो तमिलनाडु की मुख्यमंत्री के रूप में कई कार्यकालों तक सेवा करने के लिए जानी जाती हैं। वे भारतीय राजनीति की सबसे प्रभावशाली हस्तियों में से एक बन गईं और तमिलनाडु राज्य में उनके महत्वपूर्ण योगदान के लिए उन्हें याद किया जाता है।
व्यक्तिगत जीवन:
- पूरा नाम: जयललिता जयराम
- जन्म तिथि: 24 फरवरी, 1948
- जन्म स्थान: मेलुकोटे, मैसूर राज्य (वर्तमान में कर्नाटक), भारत
- मृत्यु तिथि: 5 दिसंबर, 2016
- मृत्यु के समय आयु: 68 वर्ष
- राशि चिन्ह: मीन
- ऊंचाई: 5 फीट 5 इंच (165 सेमी)
- जातीयता: भारतीय (तमिल)
जयललिता का जन्म एक तमिल परिवार में हुआ था, जहाँ उनकी माता वेदवल्ली एक प्रसिद्ध शास्त्रीय गायिका थीं। जयललिता अपने माता-पिता की इकलौती संतान थीं और उनका पालन-पोषण कुछ हद तक एकांत में हुआ। माता के देहांत के बाद, वे अपने परिवार की विरासत में एक सशक्त हस्ती बन गईं। जयललिता जीवन भर अविवाहित रहीं और उन्होंने अक्सर साक्षात्कारों में कहा कि उन्होंने अपने राजनीतिक जीवन के प्रति समर्पण के कारण अविवाहित रहना चुना।
ज्योतिषीय विवरण और कुंडली:
- सूर्य राशि: मीन (24 फरवरी)
- चंद्र राशि: उनके जन्म का समय व्यापक रूप से दर्ज नहीं है, इसलिए उनकी चंद्र राशि का निर्धारण करना चुनौतीपूर्ण है। हालांकि, मीन राशि की सूर्य राशि होने के कारण, वे संभवतः भावुक, दयालु और सहज ज्ञान वाली रही होंगी - ये गुण उनके अनुयायियों के साथ उनके मजबूत बंधन में परिलक्षित होते थे।
- लग्न राशि: सटीक जन्म समय के बिना, उनके लग्न का निश्चित रूप से निर्धारण करना संभव नहीं है, लेकिन वह अपनी मजबूत और प्रभावशाली उपस्थिति के लिए जानी जाती थीं।
- तत्व: जल (मीन एक जल राशि है, जो अंतर्ज्ञान, भावनाओं और गहरी सहानुभूति का प्रतीक है)।
मीन राशि के जातक अपनी गहरी भावनाओं, करुणा और प्रबल अंतर्ज्ञान के लिए जाने जाते हैं। वे अक्सर अत्यधिक सहानुभूतिशील होते हैं और दूसरों से गहराई से जुड़ सकते हैं, यही गुण जयललिता को अपने समर्थकों के साथ संबंधों और नेतृत्व में बहुत सहायक रहा। अपनी करुणामयी प्रकृति के बावजूद, मीन राशि के जातक दृढ़ इच्छाशक्ति वाले और आवश्यकता पड़ने पर कठिन निर्णय लेने में सक्षम भी होते हैं, जो जयललिता की कठोर और स्पष्टवादी राजनीतिक शैली से मेल खाता है।
आजीविका:
भारतीय फिल्म उद्योग में एक अभिनेत्री के रूप में अपने करियर की शुरुआत की । वह जल्द ही तमिल सिनेमा की अग्रणी अभिनेत्रियों में से एक बन गईं और अपने अभिनय, नृत्य और पर्दे पर अपनी उपस्थिति के लिए प्रशंसा अर्जित की। उन्होंने 140 से अधिक फिल्मों में अभिनय किया, जिनमें से अधिकांश तमिल में थीं, लेकिन उन्होंने तेलुगु, कन्नड़ और हिंदी फिल्मों में भी काम किया। उनके करियर में "वेन्निरा आदई" (1965) और "इथु सत्यम" (1969) , जहां उन्होंने अपने समय की सबसे प्रसिद्ध अभिनेत्रियों में से एक के रूप में पहचान हासिल की।
हालांकि, 1970 के दशक में उनके करियर में एक महत्वपूर्ण मोड़ आया जब वे राजनीति । उन्हें भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस एमजी रामचंद्रन (एमजीआर) ने एआईएडीएमके (ऑल इंडिया अन्ना द्रविड़ मुन्नेत्र कज़गम) पार्टी की नेता बनीं
उनके राजनीतिक जीवन में कई उतार-चढ़ाव आए, लेकिन अंततः वे कुल छह कार्यकालों के लिए तमिलनाडु की मुख्यमंत्री "अम्मा कैंटीन" (जो किफायती भोजन प्रदान करती थी) और "अम्मा स्वास्थ्य बीमा" ।
जयललिता की तुलना अक्सर उनके गुरु एमजीआर से की जाती थी और तमिलनाडु की जनता के साथ उनके गहरे जुड़ाव के कारण उनके समर्थक उन्हें "अम्मा" कहकर पुकारते थे। वे कानून-व्यवस्था पर अपने दृढ़ रुख, अवसंरचना विकास के प्रति समर्पण और तमिल पहचान एवं संस्कृति को बढ़ावा देने के प्रयासों के लिए भी जानी जाती थीं।
अपने पूरे करियर के दौरान, जयललिता को कई विवादों का सामना करना पड़ा, जिनमें कई कानूनी चुनौतियां और भ्रष्टाचार के आरोप शामिल हैं, लेकिन उन्हें कई मौकों पर बरी कर दिया गया और अपने अंतिम वर्षों तक उन्होंने सत्ता पर अपनी मजबूत पकड़ बनाए रखी।
व्यक्तिगत जीवन:
जयललिता अपने सशक्त राजनीतिक करियर के लिए जानी जाती थीं, लेकिन उन्होंने अपना जीवन काफी हद तक निजी रखा। उन्होंने कभी शादी नहीं की और उनका निजी जीवन अक्सर लोगों की जिज्ञासा का विषय बना रहता था। वे बेहद स्वतंत्र थीं और उन्होंने राजनीति और सिनेमा दोनों क्षेत्रों में अपने करियर पर ध्यान केंद्रित करना चुना। उनके अनुयायियों के साथ उनका रिश्ता बेहद सौहार्दपूर्ण और घनिष्ठ था, और कई लोग उन्हें मां समान मानते थे।
वह अपने अनुशासन के लिए जानी जाती थीं और उनकी कार्यशैली बेजोड़ थी। मुख्यमंत्री रहते हुए भी, वह लंबे समय तक काम करने के लिए प्रसिद्ध थीं और अक्सर राज्य के मामलों में गहराई से शामिल रहती थीं। उन्हें पढ़ने का बहुत शौक था और शास्त्रीय संगीत और नृत्य में भी उनकी रुचि थी, जो उनके पालन-पोषण का हिस्सा थे।
राजनीति में अपने कठोर स्वरूप के बावजूद, जयललिता अपनी उदारता और सामाजिक कल्याण के प्रति समर्पण के लिए प्रसिद्ध थीं। उन्हें जानवरों से भी बहुत प्यार था और अपने जीवनकाल में उन्होंने कई पालतू जानवर पाले, जिनका जिक्र वे अक्सर अपनी निजी बातचीत में करती थीं।
विरासत और प्रभाव:
तमिलनाडु की राजनीति में जयललिता की विरासत महत्वपूर्ण है। पुरुष प्रधान राजनीतिक परिवेश में एक महिला होने के नाते, उन्होंने कई बाधाओं को पार किया और पूरे भारत में अनेक महिलाओं के लिए सशक्तिकरण का एक सशक्त प्रतीक बनीं। राज्य में आज भी उनका प्रभाव महसूस किया जा सकता है, और उनकी राजनीतिक पार्टी उनके प्रभाव को आगे बढ़ा रही है।
दिसंबर 2016 में उनकी मृत्यु तमिलनाडु की राजनीति में एक युग का अंत थी और उनके जाने से एक गहरा शून्य उत्पन्न हो गया। उनके समर्थक आज भी उनकी स्मृति का सम्मान करते हैं और तमिलनाडु की राजनीति में उनका प्रभाव आज भी काफी महत्वपूर्ण है।
रोचक तथ्य:
- जयललिता एक निपुण शास्त्रीय नृत्यांगना और गायिका थीं, जिनकी भरतनाट्यम और कर्नाटक संगीत में मजबूत नींव थी।
- एमजी रामचंद्रन (एमजीआर) के साथ गहरा संबंध था एआईएडीएमके की नेता बनीं , जिसकी स्थापना उन्होंने की थी।
- अपनी बेमिसाल स्टाइल सेंस के लिए जानी जाने वाली जयललिता को अक्सर पारंपरिक तमिल शैली में डिजाइन की गई साड़ियों में देखा जाता था, जो राजनीतिक परिदृश्य में एक प्रतिष्ठित पहचान बन गईं।
- तमिलनाडु की मुख्यमंत्री बनने से पहले राज्यसभा की सदस्य थीं
ज्योतिषीय अवलोकन:
मीन राशि की होने के नाते , जयललिता ने इस राशि के गुणों का प्रदर्शन किया—दयालु, भावनात्मक रूप से बुद्धिमान और दृढ़ उद्देश्य से प्रेरित। उन्होंने अपनी भावनात्मक संवेदनशीलता को अविश्वसनीय लचीलेपन के साथ संतुलित किया, और उनकी विरासत उनकी मीन राशि की प्रकृति की शक्ति और बहुमुखी प्रतिभा का प्रमाण है।
संक्षेप में, जयललिता जयराम का जीवन कलात्मक प्रतिभा, राजनीतिक नेतृत्व और अटूट दृढ़ संकल्प का संगम था। वह न केवल तमिलनाडु में बल्कि पूरे भारत में एक प्रतिष्ठित हस्ती बनी हुई हैं, जिन्हें एक अभिनेत्री और एक ऐसी नेता के रूप में उनकी विरासत के लिए सराहा जाता है, जिन्होंने अपने राज्य और अपने प्रियजनों पर गहरा प्रभाव डाला।